Govt job:हमें भी सरकारी नौकरी चाहिए
Govt job Need: सरकारी नौकरी सुनते ही हमारे मन में भी वही विचार आता है, जो एक सरकारी नौकरी करने वाले को देख कर सभी के मन में आता होंगा. एक image बन कर आती है जिसमे लगता है बड़े आराम का काम है सरकारी नौकरी.
Govt job Today’s Need: कुछ दशक पहले तक सरकारी नौकरी या और भी किसी प्रकार की नौकरी करना एक अपमान की द्रस्ती से देखा जाने वाला काम लगता था,उस समय के लोग यह सोचते थे हमारे पास किस बात की कमी है जो हम दुसरो के पास काम करने जायेगे.हम लोगो को अपने घर नौकर रखते है और हम दुसरो के घर काम करने जायेगे ऐसा हो ही नहीं सकता.यह मानसिकता आज उन लोगो की वर्तमान पीढ़ी पर भारी पड़ रही हैं.
होती क्या है सरकारी नौकरी(Govt job)
जिस सरकार को जनता के द्वारा चुनाव के बाद सत्ता में बैठाया जाता है वे ही लोग फिर उस जनता को नौकरी देने का काम करती हैं,यह हुई आशान भाषा में बात अब आप को बताते है आगे की बात जब सरकार को आपने द्वारा बने गई योजनाओ को जनता तक पहुचाना होता है, तो वें लोग तो ये काम करेगे नहीं और रही बात योजना बनाने की तो वह भी वे नहीं कर सकते.
उस वक्त उन्हें चाहिए कुछ मजदुर जो ये काम कर सके तब निकाली जाती है. पड़े लिखे लोगो के लिए भर्ती जिसमे अलग अलग विभाग की जरूरत के हिसाब से श्रेणी होती हैं ,जो की योजना बनाने का और उसे क्रियान्वयन करवाने का काम करते हैं.
क्यों करना कहते है लोग govt job
कुछ लोगो का मना है आराम की नौकरी होती है सरकारी नौकरी(Govt job) कुछ लोग इसे सुरक्षित मानते है और कुछ लोग इसे केवल मोटी कमी करने का साधन मानते हैं,जिसकी जैसी जरुरुत है वह उस हिसाब से इसे ढाल लेता हैं.फिर भी मनुष्य की जरूरते कभी पूरी नहीं होती है वह तभ भी पैसा कमाना चाहिता है जिस वक्त वह म्रत्यु की सेज पर लेटा हुआ होता हैं.इन्ही सब कारणों से लोगो की पसंद है सरकारी नौकरी(Govt job).
आज कल तो यदि आपके घर में कोई बेटी पैदा हुई है और उसकी उम्र शादी करने लायक हो गई है तो आप भी उस लकड़ी के लिए एक ऐसा लड़का चाहोंगे जो की सरकारी नौकरी (Govt job) करता हों,उसके निचे तो आप कुछ एक्सेप्ट करोगे ही नहीं. लेकिन एक नियम है न कॉर्पोरेट में जब डिमांड बदती है तो सप्लाई कम हो जाती हैं .बस वही नियम यहा भी लागु होता हैं.आज के time में लोगो के बिच में इतना Competition बड गया है की आपकी आधी उम्र निकल जाएगी सरकारों नौकरी(Govt job) पाते-पाते लेकिन नौकरी मुस्किल से हाथ आएगी तब तक छोकरी हाथ से निकल जाएगी.
समय के साथ-साथ डिमांड बडती गई :-
प्राचीन समय में लोग संपन्न थे वे खुद इतना कमा लेते थे की उन्हें किस और के घर पर काम करने नहीं जाना पड़ता था. लेकिन आज उसका उल्टा हो रहा है दुनिया में कुछ प्रतिशत ही ऐसे लोग है. जिनके पास बहुत अधिक संपत्ति है और वह बड़ते ही जा रहि है .
उसी का परिणाम है की आज के समय में नौकरी(Govt job) करने वालो की तादाद बदने लगी हैं उस वक्त लोगो के पास पर्याप्त खेती और अपना व्यवसाय हुआ करता था. जिससे उनका गुजारा आशानी से हो जाता था धीरे-धीरे वह संपत्ति समाप्त होती चली गई और कुछ खेती के टुकडो के बटवारे में चली गई है इसलिए नौकरी की डिमांड बदती जा रही हैं.
नौकरी कोई भी हो हम काम तो दुसको के लिए ही करते है और उन्ही को उचाइयो पर पहुचने का काम करते है हमें आपने लिए कुछ सोचना चाहिए जिससे की हमारा भी सही समय पर पूरा विकास हो सके वरना नौकरों को हर किसी को जरुरत पड़ती ही है.और नौकरी धुह्दने वालो की तो कमी है ही नहीं दुनिया में .Written By:- Vikas